खोए हुए मगध में एक घायल आवाज़: आशुतोष दुबे
श्रीकांत वर्मा की कविताओं ने इधर समकालीन अर्थवत्ता प्राप्त की है. शासक और सत्ता की आंतरिक विडम्बनाओं को जिस तीखे ...
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श्रीकांत वर्मा की कविताओं ने इधर समकालीन अर्थवत्ता प्राप्त की है. शासक और सत्ता की आंतरिक विडम्बनाओं को जिस तीखे ...
श्रीकान्त वर्मा का कविता संग्रह मगध (१९८४ में प्रकाशित) अभी भी आलोचकों के लिए चुनौती है, ऐसी जनप्रियता कम कविता ...
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