पाब्लो नेरुदा : अनुवाद : अंचित
अंचित समर्थ कवि के साथ-साथ सक्षम अनुवादक भी हैं. पाब्लो नेरुदा की इन कविताओं में पाब्लो के साथ अंचित का ...
Home » पाब्लो नेरुदा
अंचित समर्थ कवि के साथ-साथ सक्षम अनुवादक भी हैं. पाब्लो नेरुदा की इन कविताओं में पाब्लो के साथ अंचित का ...
लखनऊ के शायर मीर हसन का एक शेर है- ‘कूचा-ए-यार है और दैर है और काबा है / देखिए इश्क़ ...
बीसवीं शताब्दी के बड़े कवि पाब्लो नेरुदा (१२ जुलाई १९०४ - २३ सितम्बर १९७३) को उनकी कविताओं के लिए १९७१ ...
दुनिया में जिन कवियों को विश्व-कवि और महाकवि का दर्ज़ा मिला है, उनकी अग्रणी पंक्ति में पाब्लो नेरूदा शुमार किए ...
बीसवीं शताब्दी के महान क्रांतिकारी नेताओं में अग्रगण्य फिदेल के लगातार घंटो तक जोशीले भाषण देने की कला के कारण ...
गोयथे ने अनुवाद पर कहा है – अनुवाद की अपूर्णता के विषय में कोई चाहे कुछ भी कहे, पर यह ...
समालोचन साहित्य, विचार और कलाओं की हिंदी की प्रतिनिधि वेब पत्रिका है. डिजिटल माध्यम में स्तरीय, विश्वसनीय, सुरुचिपूर्ण और नवोन्मेषी साहित्यिक पत्रिका की जरूरत को ध्यान में रखते हुए 'समालोचन' का प्रकाशन २०१० से प्रारम्भ हुआ, तब से यह नियमित और अनवरत है. विषयों की विविधता और दृष्टियों की बहुलता ने इसे हमारे समय की सांस्कृतिक परिघटना में बदल दिया है.
सर्वाधिकार सुरक्षित © 2010-2023 समालोचन | powered by zwantum