वे नायाब औरतें : अलका सरावगी
वरिष्ठ लेखिका मृदुला गर्ग के संस्मरणों की पुस्तक ‘वे नायाब औरतें’ पात्रों की जीवंतता और भाषा की रवानी के कारण ...
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वरिष्ठ लेखिका मृदुला गर्ग के संस्मरणों की पुस्तक ‘वे नायाब औरतें’ पात्रों की जीवंतता और भाषा की रवानी के कारण ...
आधुनिक भारत के निर्णायक व्यक्तित्व गांधी और सौंदर्य, प्रतिभा तथा चेतना की प्रतिमूर्ति सरलादेवी चौधरानी के बीच विचलित कर देने ...
अपने पहले ही उपन्यास- ‘कलि-कथा: वाया बाइपास’ (1998) से चर्चित अलका सरावगी महत्वपूर्ण उपन्यासकार हैं, इधर उनका नया उपन्यास ‘कुलभूषण ...
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